हाल में ही सपा के एक मिया विधायक ने बताया के उन्हें आदेश आया हैं ब्राह्मणों की कोई मदद ना की जाये | अब हम इसे सिर्फ मिया भाइयो की फूट डालने की चाल ही समझते हैं | क्यों की राजनीति में तो वोटबैंक खिसकता रहता हैं | मुस्लिम वोट तो हमेशा जामा मस्जिद के फतवे पर चलते हैं और कभी एक के नहीं हुए | तो कल को मुस्लिम किसी और को वोट दे दे और सपा ब्राह्मणों के बूते सत्ता में आये तो क्यों अखिलेश जी ऐसी गैर जिम्मेदाराना बात कहेंगे कदापि नही | आखिर उन्होंने मुख्यमंत्री बनते समय समाज में समता पूर्ण भेद भाव रहित व्यहवार करने की सपथ खाई हैं | और अंदर क्या होता हैं इस से जनता को क्या लेना देना हम तो यही मानते हैं की ऐसा कोई निर्देश सपा की तरफ से नहीं आया होगा और ये फूट डालने की चाल हैं | और सपा की तरफ से स्पष्टीकरण आना चाहिए और इन विधायक महोदय को निष्काषित करना चाहिए समाज में एक जिम्मेदार पद पर बैठ कर सपा की छवि खराब करने के लिए |